मांढर वाली माता रानी का 36 वां “अवतरण दिवस भक्तों के द्वारा हर्षो उल्लास के साथ मनाया गया,,

बिलासपुर:- चलो बुलावा आया है माता ने बुलाया है जब हम यह भजन सुनते हैं या यह लाइन पढ़ते हैं तो मन में एक अलग ही उमंग जागृत होती है श्रद्धा भक्ति के 🌊समुद्र में गोते  लगाती हैं और ध्यान सिर्फ एक ही तरफ जाता है माता की तरफ अब वह माता जम्मू वाली हो मैहर वाली हो असम वाली हो रतनपुर वाली हो डोंगरगढ़  वाली हो रायगढ़ वाली हो या मांढर वाली हो हां आपने सही सुना मांढर वाली माता रानी का  मंदिर ⛩ मांढर में स्थित है इस मंदिर का नाम है  माँ संतोषी माँ वैभव लक्ष्मी धाम है इस धाम की माता रानी के बारे में जैसा कि बताया जाता सिंध से बंटवारे के बाद हिंदू वह सिंधी समाज के लोग लाखों की संख्या में भारत आए और उनमें एक परिवार टोपन दास का था जो की भारत के उस  समय मध्य प्रदेश के बिलासपुर जिले के चक्करभाटा नगर में आ गये थे , कुछ सालों के बाद मांढर जिला रायपुर में पहुंचे  50 सालो से  यही रहते हैं मात्र एक सिंधी समाज का परिवार है मांढर एक छोटा सा गांव है पर यहां पर बड़ी-बड़ी सीमेंट की फैक्ट्रियां हैं इसके कारण यह प्रसिद्ध हुआ पर आज इसकी पहचान माँ संतोषी माँ वैभव लक्ष्मी धाम के नाम से है टोपन दास का एक पुत्र था भरत लाल भरत लाल की चार संतान हैं एक लड़का है तीन बेटी है इसमें सबसे बड़ी बेटी है नीतू जो तिल्दा स्थित माता के मंदिर की जो पुजारी थी लक्ष्मी माता उसकी भक्त थी आए  दिन  उसकी तबीयत खराब रहती थी उसके पिताजी कई जगह दिखाएं पर कुछ फर्क नहीं पडा तब   वह   तिल्दा स्थित माता के मंदिर में पहुंचे तो वहां उसे अच्छा लगा वह फर्क आया तब से वह माता की भक्त बन गई और सेवा करने लगी एक दिन उनके सपने में मां संतोषी ने दर्शन दिए और उनके शरीर में भी मां संतोषी आए उसके पिताजी ने जाकर उनकी गुरु माता लक्ष्मी जी से बताया उन्होंने कहा डरने की कोई बात नहीं संतोषी माता मेरी बहन है तब से वह माता की पुजारी हो गई मांढर में स्थित पहले छोटा सा ⛩मंदिर था सन् 2000 में माता के मंदिर को भक्तों के द्वारा स्थापना की गई सन 2009 में हिमाचल प्रदेश से मां ज्वाला माता के मंदिर से अखंड ज्योत लाई गई जो आज भी यहां पर  प्रज्वलित है 2005 में  लक्ष्मी जी ब्रह्मलीन हो गई पर जाते-जाते उन्होंने अपनी शक्ति अपनी शिश्या को दे गई इसके बाद उनकी शिश्या  जो की मांढर वाली माता रानी के नाम से प्रसिद्ध हुई हर मंगलवार को 11:00 बजे से लेकर 4:00 बजे तक मंदिर में बैठक लगने लगी दूर दूर से  भक्त लोग अपना दुख तकलीफ लेकर माता रानी के दरबार में पहुंचने लगे और खुशी-खुशी होकर वापस जाते हैं कहते हैं यह प्रसिद्ध व सिद्ध मंदिर है  जो भी भक्त श्रद्धा  से भक्ति से इस दर पर आया है कभी खाली वापस नहीं गया है मां ने सब की झोली भरी है सबके दुख दर्द दूर किए हैं नवरात्रि के 9 दिन यहां मेला लगता है सुबह से लेकर रात्रि तक माता का प्रसाद वह भंडारा चलते रहता है भक्तों के द्वारा बताया गया की माता के कई चमत्कार भी हुए अलग-अलग शहरों के भक्तों ने देखा है और विश्वास है भक्तों को, कि उनका दुख दर्द दूर हो रहे हैं कल ऐसा एक चमत्कार हमने भी देखा अचानक रिमझिम रिमझिम बारिश चालू हो गई माता रानी 👸 का अवतरण दिवस था कार्यक्रम चल रहा था हजारों की संख्या में भक्तजन बैठे थे स्टेट में कलाकार परफॉर्म कर रहे थे तब माता रानी ने आंखें बंद की और ध्यान लगाया तब हल्की-हल्की बारिश अपने आप बंद हो गई और कार्यक्रम सुचारू रूप से संपन्न हुआ इसे आप क्या कहेंगे आप सोचिए पर भक्तों के लिए यह तो चमत्कार से कम नहीं
मांढर वाली माता रानी का 36 वां अवतरण “दिवस भक्तों के द्वारा बड़े धूमधाम के साथ मांढर में मनाया गया कार्यक्रम की शुरुआत माता रानी के मूर्ति पर पुष्प अर्पण का दीप प्रज्ज्वलित कर के की गई इस अवसर पर मुम्बई के मशहूर सिंगर जतिन उदासी एवं टीम के द्वारा भक्ति मय  संगीतमय कार्यक्रम की शानदार प्रस्तुति दी जिसे देखकर सभी भक्तजन  झूम उठे
एक से एक बड कर हिंदी ,सिंधी गीत और माता के भजन की शानदार प्रस्तुति दी
रात्रि 10:00 बजे माता रानी ने भक्तों के संग कैट  काटकर अपना
36 वां अवतरण दिवस मनाया भक्तों ने भी माता रानी को केक खिलाया वह आशीर्वाद लिया इस कार्यक्रम में शामिल होने के लिए हजारों की संख्या में भक्तजन छत्तीसगढ़ के लगभग सभी शहरों से एवं गोंदिया महाराष्ट्र से भी भक्तजन विशेष रूप से  पहुंचे थे और कार्यक्रम में शामिल हुए और माता रानी के दरबार में हाजिरी लगाई और माता रानी को 🎂🎉🍻 , अवतरण दिवस की बधाई दी  और आशीर्वाद ग्रहण किया कार्यक्रम रात्रि 9:00 आरंभ हुआ और 12:00 बजे समापन हुआ
आए हुए सभी भक्तजनों के लिए आम भंडारे का आयोजन भी किया गया बड़ी  संख्या  में भक्तों ने भंडारा ग्रहण किया
आज के इस कार्यक्रम में रायपुर उत्तर के पूर्व विधायक श्री चंद सुंदरानी छत्तीसगढ़ सिंधी पंचायत के अध्यक्ष महेश दरयानी, प्रवक्ता सुभाष बजाज कोषाध्यक्ष  कैलाश बालानी,
प्रेम बिरनानी राजेश वाधवानी राजेश गुरुनानी जितेंद्र बड़वानी सुदेश मंधान मुरलीधर शादीजा मोहन , राजू बिरनानी , राकी कृष्णानी , नन्द कुमार जय  सिंह, जीतू बिरनानी, प्रेम सोनी , सोमन परवानी, रवि , हेमंत , मोनू आहूजा , प्रकाश ननकानी राधाकृष्ण सुंदरानी सागर दुल्हानी, अमन तरलेजा अमित डिंगवानी, बिट्टू पिंजानी  ,अनीश बजाज, दामोदर , मनोहर मल्यानी , कन्हैया मल्घानी लक्ष्मण हेमनानी रमेश मंधान लालचंद रोहरा नरेश जी मनोहर  डेंगवानी विष्णु नागवानी अशोक चावला आकाश बिरनानी मुरली रोहरा समन दास  खूबचंदानी चंदर देवानी अमर वालेचा शंकर दानवानी
जोध।राम वाधवानी, भाई साहिब अशोक कुमार , हरनाम तलरेजा राजू करड़ा संतु भरवानी कंपी लालवानी संजय लालवानी नंदलाल पोपटानी कमल मतलानी,मोनू डेगवानी मनोहर सचदेव अजय डोडानी,
, सुमित बजाज अमित वालेचा  विनोद सीतनानी , अमित आहुजा प्रहलाद खेमानी व माताओ बहनो आदि जनो ने
माता रानी से आशीर्वाद लिया  आज के इस कार्यक्रम में बिलासपुर व चक्करभाटा  से 80 भक्तों का जत्था स्पेशल बस से  आए थे वह कार्यक्रम में शामिल हुए
इस पूरे कार्यक्रम को कवर करने के लिए हमर संगवारी के प्रधान संपादक विजय दुसेजा विशेष रूप से मांढर पहुंचे ओर  कार्यक्रम को कवर किया  इस पूरे कार्यक्रम को सफल बनाने में मां संतोषी मां वैभव लक्ष्मी धाम रायपुर बिलासपुर गोंदिया राजनंदगांव सेवा समिति , व श्री राम श्री राम युवा मण्डली एक पहल और एवं सेवा पथ की पूरी टीम एवं
महिला मंडल की  पूरी टीम ने आकर अपनी शेवाएं दी ।



भवदीय
विजय दुसेजा