जबलपुर (म.प्र.) : रामपुर छापर के चुंगी चौकी के पास एक मकान में एक परिवार के तीन सदस्य फांसी के फंदे पर लटके मिले। रविवार की दोपहर जब पास में रहने वाले भाई ने 24 घंटे से ज्यादा देर तक घर के अंदर से हलचल नहीं देखी तो दरवाजा खटखटाया। इसके बाद भी कोई बाहर नहीं आया। इसके बाद उन्होंने स्थानीय लोगों को सूचना देकर दरवाजा खुलवाया तो कमरे के अंदर पति-पत्नी और दस वर्षीय बेटा फंदे में लटका मिला। पुलिस इस मामले की जांच कर रही है।
शुक्रवार को आखिरी बार देखा था उन्हें :
जबलपुर पुलिस ने बताया कि मृतक के घर के पास ही उसके भाई संतोष बर्मन रहते हैं। उन लोगों ने अंतिम बार परिवार को शुक्रवार को देखा था। उसके बाद परिवार का कोई सदस्य नजर नहीं आया। घर का दरवाजा भी बंद था। शनिवार और रविवार की दोपहर तक भी जब मकान का दरवाजा नहीं खुला तो संतोष बर्मन ने दरवाजा खटखटाया। अंदर से कोई जवाब नहीं मिला। जिसके बाद उन्होंने स्थानीय पार्षद गुड्डू तामसेतवार को सूचना दी। उन्होंने रामपुर चौकी को मामले की जानकारी दी और मौके पर पहुंचे।
सुसाइड नोट भी नहीं मिला :
यहां लोगों ने दोपहर करीब एक बजे के आसपास दरवाजा खोला तो अंदर का मंजर भयावह था। कमरे में तीन फंदों में रविशंकर बर्मन 40 साल, पत्नी पूनम बर्मन और दस वर्षीय आर्यन बर्मन में लटके मिले। पास एक कुर्सी थी जो जमीन में गिरी हुई थी। प्रारंभिक जांच में यह माना जा रहा है कि कुर्सी की मदद से ही फंदे पर झूले होंगे। पुलिस की जांच में कमरे के भीतर किसी तरह का सुसाइड नोट भी नहीं मिला है। इसलिए फिलहाल तीनों शवों को उतारकर पोस्टमार्टम के लिए भेजा गया है। इधर मोहल्ले वालों से भी पुलिस जानकारी जुटा रही है।
एमआर था रविशंकर :
रविशंकर अपनी पत्नी और बच्चे के साथ मकान में रहता था। वह मेडिकल रिप्रेंन्टेटिव था। स्थानीय लोगों ने बताया कि परिवार के सदस्य सभी से अच्छे से मिलते जुलते थे। परिवार के भीतर भी कभी तनाव जैसा माहौल नहीं दिखा। अब यह कदम क्यों उठाया यह पुलिस जांच में सामने आएगा।