ब्रह्मा कुमारीज उसलापुर द्वारा “बाल व्यक्तित्व विकास शिवर”

ब्रह्मा कुमारीज उसलापुर द्वारा “बाल व्यक्तित्व विकास शिवर” का आयोजन बच्चों में नैतिक मूल्य की धारणा एवं आध्यात्मिकता में उनकी रुचि पैदा करने के लिए “प्रजापिता ब्रह्माकुमारी, ओम शांति सरोवर,उसलापुर” के तत्वाधान में किया गया। आज बच्चों को गायत्री मंत्र, महामृत्युंजय मंत्र एवं सरस्वती वंदना करते हुए शिविर आरंभ किया गया.
ब्रह्मा कुमारीज, उसलापुर की सेवा केंद्र की मुख्य संचालिका आदरणीय बी के छाया दीदी जी ने बच्चों को बताया कि शरीर पांच तत्वों का बना हुआ है। और इसे चलाने वाली चैतन्य ऊर्जा, शक्ति हमारे मस्तक के बीच एक सितारे के रूप में विराजमान है। इस आत्मिक ऊर्जा को हम प्रतिदिन मेडिटेशन के द्वारा चार्ज कर सकते हैं। और मानसिक रूप से स्वस्थ रह सकते हैं। उसके आगे उन्होंने बताते हुए कहा कि शरीर को स्वस्थ रखने के लिए पांच तत्वों का बैलेंस चाहिए। शरीर को शुद्ध वायु की आवश्यकता होती है जिसके लिए हमें प्राणायाम एवं योगासन रोज करना चाहिए। जिससे शरीर को भरपूर मात्रा में ऑक्सीजन प्राप्त होता है। एवं हमें दिनचर्या में कम से कम 10 से 12 ग्लास पानी अवश्य पीना चाहिए क्योंकि शरीर में 70% भाग पानी है, सभी बच्चों को सवेरे उठकर शुद्ध पानी पीने के लिए श्रेष्ठ संकल्पों के साथ चार्ज करें जैसे की मैं परम पवित्र आत्मा हूं इस विचार से दृष्टि देते हुए पानी का सेवन करने और संतुलित आहार लेने की विधि बताई। पश्चात उन्हें दीदी ने म्यूजिकल एक्सरसाइज एवं विजुलाइजेशन मेडिटेशन कराया, मेडिटेशन के द्वारा बच्चों ने परम शांति का, शीतलता का, खुशी का अनुभव किया।
बीके हेमा बहन ने सुव्यवस्थित दिनचर्या जानकारी देते हुए कहा कि हमें सुबह सूर्योदय से पहले जागना है। सुबह उठकर दिन की शुरुआत हमें परमात्म चिंतन एवं अच्छे विचारों से करना है। जैसे – मैं बहुत भाग्यशाली हूं, बुद्धिमान हूं, मैं हमेशा खुश रहती हूं आदि । उन्होंने आगे बताया कि अपनी स्मरण शक्ति को अच्छा बनाने के लिए सुबह का समय मूल्यवान है रात में अच्छी नींद लेने से सुबह हमारा मन फ्रेश रहता है। दिन के बीच-बीच में हमें अपने आप को परमात्मा से जोड़ना है अर्थात मेडिटेशन करना है और रात को सोने से पूर्व परमात्मा का धन्यवाद अवश्य करना है।
नैतिक मूल्यों की शिक्षा के अंतर्गत बीके अनामिका बहन ने आज्ञाकारिता विषय पर बताया कि आज्ञाकारी बनने से हमें, सब की दुआएं मिलती है जिससे हम जीवन में आगे बढ़ते हैं उन्होंने आगे बताया कि आज्ञाकारी बनने के बहुत फायदे हैं जैसे हमारा पुण्य जमा होता है एवं अनेक गुण और विशेषताएं हमारे अंदर विकसित होती है। बाद में बच्चों को डांस भी कराया गया।
12 दिवसीय यह शिविर 19 मई तक रहेगा। शिविर में बच्चों को प्रतिदिन योगाभ्यास, एक्टिविटीज, म्यूजिकल एक्सरसाइज, गेम, ब्रेन जिम, डांस, सॉन्ग, ड्राइंग, मेडिटेशन एवं नैतिक मूल्यों की शिक्षा प्रदान की जा रही है।