चंद्र दिवस एक शाम भगवान झूलेलाल के नाम कार्यक्रम का आयोजन श्री झूलेलाल मंदिर सिंधु अमर धाम आश्रम झूलेलाल नगर चक्करभाटा में आयोजित किया गया कार्यक्रम की शुरुआत रात्रि 10 बजे कि गई,
भगवान झूलेलाल एवं बाबा गुरमुख दास जी के फोटो पर माला पहनाकर पूज्य बहराणा साहब की अखंड ज्योत प्रजवलित करके की गई इस अवसर पर प्रदीप प्यासी रायपुर ,मशहूर सिंगर संगीता पात्रा मुंबई , विशेष रूप से आज के इस आयोजन में शामिल हुए वह अपनी मधुर वाणी से शानदार भक्ति मय भजनों की प्रस्तुति देकर लोगों का दिल जीत लिया एक से बढ़कर एक भक्ति भरे भजनों की प्रस्तुति दी जिसे सुनकर भक्तजन भाव विभोर हो गए कार्यक्रम के आखिर में सिंधी छेज की गई सांई जी के द्वारा भक्तों के साथ सिंधी छेज की गई जिसे देखकर भक्त जन आनंद मय हो गए ईस अवसर पर
आए हुए दोनों 🎭🙋 कलाकारों का बाबा गुरमुख दास सेवा समिति के द्वारा फूलों की माला पहना कर स्वागत किया गया,सांई जी के द्वारा छाल ओढाकर श्री फल 🍎🍊🍌🍉🍇🍒🍍देकर
सम्मान किया गया
कार्यक्रम के आखिर में सांई जी ने अपनी अमृतवाणी में आए हुए सभी भक्तजनों को आज के चंद्र दिवस की बहुत-बहुत बधाइयां और शुभकामनाएं दी,
उन्होंने कहा कि आज का चंद्र दिवस साल में एक या दो बार आता है जब
ऐसा मौका होता है तब चंद्र दिवस ओर शुक्रवार एक साथ होते हैं वैसे तो चंद्र हर महा आता है पर अलग-अलग दिनों में आता है लेकिन जब चंद्र शुक्रवार के दिन आता है तो उस दिन समझो सिंधी समाज के लोगों की लॉटरी निकल गई है क्योंकि शुक्रवार के दिन वह चंद्र के दिन भगवान झूलेलाल का जन्म हुआ था अवतरण हुआ था इसलिए दोनों एक साथ आते हैं एक दिन में तो वह दिन बहुत शुभ होता है समाज के लोगों को अपने-अपने घरों के बाहर दीपक जलाने चाहिए नदी तालाब में जाकर अखों डालना चाहिए मिठी ताहयरी डालनी चाहिए और दान पुण्य करना चाहिए , वह भगवान झूलेलाल के मंदिर में भी जाना चाहिए जैसे चेट्रीचंड्र हमारे लिए बहुत महत्वपूर्ण है और हम बड़ी श्रद्धा से मनाते हैं इसी तरह अगर किसी माह चंद्र शुक्रवार के दिन पड़ता है तो उसे भी चेट्रीचंड्र से कम नहीं समझना चाहिए ऐसा सोचना चाहिए कि आज हमारे लिए दिवाली है और जैसे अपने घरों को सजाते हैं इस तरह आज के दिन भी आपको नेक कार्य करने चाहिए धर्म के कार्य करने चाहिए बहुत भाग्यशाली है वह लोग जो आज यहां पर उपस्थित है इस कार्यक्रम में शामिल हुए हैं लोग गुरु तो बनाते हैं पर गुरु की बात नहीं मानते हैं इसलिए वह दुखी ज्यादा रहते हैं पहले लोग थोडे़ में खुश थे अब ज्यादा में दुखी है,
सुखी तब होंगे जब गुरु का कहना मानेंगे गुरु के बताए हुए मार्ग पर चलेंगे तभी उनका भला होगा वह उनका उद्धार होगा आखिर में आरती की गई प्रार्थना की गई विश्व🌏 कल्याण के लिए पल्लव पाया गया प्रसाद वितरण किया गया वह आए हुए सभी साध संगत के लिए आम भंडारे का आयोजन किया गया बड़ी संख्या में भक्त जनो ने भंडारा ग्रहण किया पूज्य बहराणा साहब को मंदिर से ढोल बाजे के साथ निकल कर तालाब पहुंचे यहां पर विधि विधान के साथ बहराणा
साहब को सांई जी के द्वारा विसर्जन किया गया
वह अखंड ज्योत को तराया गया
, इस पूरे कार्यक्रम का शोशल मीडिया के माध्यम से लाइव प्रसारण किया गया हजारों की संख्या में घर बैठे लोगों ने आज के इस कार्यक्रम का आनंद लीया, ईस कार्यक्रम में शामिल
होने के लिए बड़ी संख्या में लोग 👫👬👭 बिलासपुर,चक्करभाटा,बिल्हा,
भाटापारा रायपुर दुर्ग से आए थे आज के इस पूरे कार्यक्रम को सफल बनाने में बाबा गुरमुख दास सेवा समिति व श्री झुलेलाल महिला सखी सेवा ग्रुप की सभी सदस्यों का विशेष सहयोग रहा
भवदिय
विजय दुसेजा