राहुल गांधी को मंदिर दर्शन रोकने एवं बदसलूकी के विरोध नेहरू चौक बिलासपुर में धरना

संवाददाता हरिकिशन गंगवानी
ज़िला कांग्रेस कमेटी ( शहर/ग्रामीण ) ने संयुक्त रूप से आज मौन धारण कर पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी को मन्दिर दर्शन से रोकने एवं बदसूलकी के विरोध में नेहरू चौक में धरना दिया ।
शहर अध्यक्ष विजय पांडेय और ज़िला अध्यक्ष विजय केशरवानी ने कहा कि माननीय राहुल गांधी जी ” भारत जोड़ो न्याय यात्रा ” मणिपुर से प्रारम्भ कर मुम्बई तक की यात्रा कर रहे है,
22 जनवरी को माननीय राहुल गांधी जी ” भगवान राम के प्राण-प्रतिष्ठा “के पावन अवसर पर असम के प्रसिद्ध सन्त श्रीमन्त शंकर देव जी के जन्म स्थली नगांव के मंदिर ,जो शंकरदेव मन्दिर के नाम से प्रसिद्ध हैं ,दर्शन करने के लिए विधिवत 11 जनवरी को मन्दिर प्रबन्धन से अनुमति ली गई थी,
किन्तु 22 जनवरी को असम पुलिस द्वारा माननीय राहुल गांधी जी को दर्शन करने के लिए रोका गया और भाजपा के कार्यकर्ताओं द्वारा कांग्रेसियो पर हमला किया गया ,जो घोर निंदनीय और चिंता का विषय है कि असम में कैसी सरकार चल रही है?जो लोगो को मन्दिर जाने से रोक रही है।
अध्यक्ष द्वय ने कहा कि यह घटना भाजपा के दोहरे चरित्र का प्रमाण है ,एक ओर भाजपा अपने आपको हिंदु बताने में नही चूकती वही दूसरी ओर मन्दिर दर्शन के लिए कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष और सांसद राहुल गांधी जी को मन्दिर जाने पर रोकती है। जबकि भारतीय संविधान प्रत्येक नागरिक को धार्मिक स्वतंत्रता का अधिकार दिया है,उन्होंने कहा कि असम के मुख्यमंत्री हेमन्त विस्वा शरमा भ्रष्ट मुख्यमंत्री है ,जो दिल्ली से नियंत्रित है और दिल्ली के आदेश को अक्षरशः पालन करते है ,इसके पूर्व भी कांग्रेस के नेताओ को असम पुलिस द्वारा गिरफ्तार किया गया है,माननीय राहुल गांधीजी की भारत जोड़ो न्याय यात्रा से घबराई हुई भाजपा हर हाल यात्रा को बंद कराना चाहती है ,इसके पूर्व भारत पदयात्रा को असफल करने के लिए भाजपा ने पूरी कोशिश की किन्तु अपार जन समर्थन के साथ यात्रा पूरी हुई ,भाजपा एक फिर नही चाहती कि राहुल जी की यात्रा सफल हो इसलिए भाजपा कार्यकर्ताओं द्वारा कांग्रेस के झंडे तोड़े जा रहे, कार्यकर्तों पर आक्रमण हो रहे है ,इसके बावजूद कांग्रेस संवैधानिक मूल्यों को अक्षुण्य रखने के लिए गांधीजी के बताए मार्ग पर चलकर यात्रा को पूर्ण कर रही है, अध्यक्ष द्वय ने कहा कि भाजपा आज़ादी काल से मुहँ में राम बगल में छुरी को चरितार्थ करते आ रही है ,जिसका 22 जनवरी को असम की घटना उदाहरण है।
मौन धरने में शहर अध्यक्ष विजय पांडेय,ज़िला अध्यक्ष विजय केशरवानी,ज़फ़र अली,हरीश तिवारी,विनोद शर्मा, त्रिभुवन कश्यप, माधव ओत्तलवार, राजेन्द्र साहू ,अनिल सिंह चौहान,ऋषि पांडेय,विनोद साहू,अफ़रोज़ बेगम,राम प्रसाद साहू,सुभाष ठाकुर,राजेश शर्मा, दिनेश सूर्यवंशी,वीरेंद्र सारथी,मनोज शर्मा,सिकन्दर बादशाह, नवीन वर्मा,राकेश साहू, गौरव एरी,राज कुमार यादव,शेर सिंह,सन्तोष गुप्ता,सुरेंद्र तिवारी,प्रह्लाद कश्यप,पुनाराम कश्यप,लक्ष्मी जांगड़े,रामचरन धुरी,हेरि डेनिएल,दीपक रायचेलवार, मनोज शुक्ला आदि उपस्थित थे ।